मानसून में तटबंध टूटने से करनाल के 50 गांव होते हैं प्रभावित, अब पत्थरों से मजबूत करने का अभियान तेज

करनाल: मानसून का सीजन शुरू होने वाला है ऐसे में जिला प्रशासन और हरियाणा सरकार के द्वारा मानसून को लेकर तैयारियां की जा रही है, ताकि प्रदेश में किसी भी प्रकार की और किसी भी व्यक्ति को परेशानी नहीं हो. इसी के चलते करनाल जिला प्रशासन के द्वारा भी यमुना नदी के तटबंध को मजबूत करने का काम किया जा रहा है. दरअसल, मानसून सीजन में पहाड़ों पर होती जमकर बारिश का असर मैदानी इलाकों में दिखता है. यमुना नदी का जलस्तर बढ़ जाता है, जिससे तटबंध टूट जाते हैं. ऐसे में यमुना नदी के पास जिला करनाल में आसपास के करीब 50 गांव बाढ़ की चपेट में आ जाते हैं. इन सभी के चलते तटबंध मजबूत किया जा रहे हैं.

यमुना नदी के तटबंध को पत्थरों के साथ किया जा रहा मजबूत

जिला उपायुक्त उत्तम सिंह ने बताया कि मानसून से पहले यमुना नदी के तटबंध को पत्थरों के साथ मजबूत किया जा रहा है ताकि किसी भी प्रकार की कोई समस्या आने वाले मानसून में पैदा ना हो. मानसून को लेकर सिंचाई विभाग को विशेष तौर पर दिशा निर्देश दिए गए हैं. कई जगह पर तटबंध मजबूत करने का काम चलाया हुआ है.

करनाल जिले में यमुना नदी पर इंटरनल ड्रेन जैसे दरियालपुर ड्रेन, हिनोरी ड्रेन, महनमति ड्रेन, छपरियां ट्रेन का भी दौरा उपायुक्त के द्वारा किया गया है और इसकी सफाई के लिए दिशा निर्देश दिए गए हैं

30 जून तक तटबंध को मजबूत करने के दिए निर्देश

जिला उपायुक्त ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि 30 जून तक तटबंध को मजबूत करने और सफाई का काम पूरा हो जाना चाहिए. इस दौरान जिला उपायुक्त ने तटबंध का निरीक्षण किया और अधिकारियों को मोदी पुर गांव में यमुना तट पर जाकर खुद निर्देश दिए. करनाल जिले में करीब 10 स्थानों पर तटबंध मजबूत किए जा रहे हैं, जहां पर ज्यादा ओवरफ्लो होने की समस्या रहती है, उन्हीं को चिन्हित करके उन पर काम किया जा रहा है, ताकि आने वाले समय में आमजन को और किसानों को किसी भी प्रकार की आपदा का सामना न करना पड़े.

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